RAKHI Saroj

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लेखनी प्रतियोगिता -29-Dec-2022

एक उदास रात

  एक उदास रात करती है हर 
चमकती रात से बात बस एक 
उम्मीद में कभी बरसे चांदनी मेरे 
एहसास में एक उदास रात करती है
हर चमकते सितारे से सवाल क्यों 
तुम हर रात मुस्कुराते हो क्या तुम्हारे 
दामन को एहसास नहीं होता है चुंबन 
के दर्द का एक उदास रात करती है
आज खुद से सवाल जाने क्यों आज 
उदासी का दामन मेरे ‌‌‌‌‌‌‌‌‌दिल को‌ घेर गया है। 
         राखी सरोज 

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2 Comments

Sachin dev

30-Dec-2022 04:34 PM

Well done

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शानदार प्रस्तुति 👌

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